पेठे ने कहा जबकि इससे पहले हुई चर्चा में यह स्पष्ट किया गया था कि एचयूआईडी और डिजिटलीकरण केवल हालमार्किंग केन्द्रों तक ही सीमित रहेगा और इसमें किसी भी आभूषण निर्माता को शामिल नहीं किया जायेगा.
ट्रेडिंग एफएक्यू
प्रश्न: क्या आप ट्रेडिंग कंपनी या निर्माता हैं?
एक: हम कारखाने हैं, हम ग्राहकों का स्वागत करने के लिए हमारे कारखाने का दौरा
प्रश्न: आपके प्रसव का समय कब तक है?
एक: आम तौर पर यह 7-15 दिन है अगर सामग्री स्टॉक में हैं । या फिर यह 15-20 दिन का होता है अगर माल स्टॉक में नहीं है तो वह मात्रा के अनुसार होता है।
प्रश्न: क्या आप नमूने ट्रेडिंग एफएक्यू प्रदान करते हैं? यह फ्री या एक्स्ट्रा है ?
एक: हां, हम मुफ्त शुल्क के लिए नमूना की पेशकश कर सकता है, लेकिन माल ढुलाई की लागत का भुगतान नहीं करते ।
प्रश्न: भुगतान की आपकी शर्तें क्या हैं?
A: भुगतान =10000USD, 30% टी/टी अग्रिम में, शिपमेंट से पहले संतुलन।
यदि आपके पास हीटिंग तत्वों के बारे में एक और सवाल है, तो पीएलएस नीचे हमसे संपर्क करने के लिए स्वतंत्र महसूस करता है:<
नॉन एफएक्यू धान की खरीदी होने लगी कृषि उपज मंडियों में
दमोह. समर्थन मूल्य धान खरीदी केेंद्रों पर जिन किसानों धान एफएक्यू श्रेणी की नहीं है वह वापस भेजी जा रही है, ऐसे किसानों के लिए अच्छी दर पर जिले की मंडियों में ही खरीदी की विशेष व्यवस्था कराई गई है। शुक्रवार को दमोह कृषि उपज मंडी में एक किसान की धान खरीदी गई है।
दमोह कृषि उपज मंडी में ग्राम भूरी से आए किसान देवी रजक की धान को व्यापारियों द्वारा बोली लगाकर खरीदी गई है। किसान देवी रजक ट्रेडिंग एफएक्यू द्वारा 130 बोरी धान लेकर आया था। जिसकी धान 13७० रुपए से 1400 रुपए के बीच व्यापारियों द्वारा खरीदी गई है। किसान देवी रजक ने बताया कि उसे पता चला कि मंडी व्यपारियों द्वारा धान खरीदी जा रही है, तो वह यहां आया और मंडी के सचिव द्वारा बताया कि व्यापारी द्वारा यहां खरीद की जा रही है। जिससे धान लेकर पहुंचा था, धान के हिसाब से उसे अच्छे रेट व तत्काल भुगतान की व्यवस्था हो गई है।
मंडी सचिव महेंद्र कुमार ने धान खरीदी के संबंध में बताया कि शुक्रवार से धान खरीदी शुरू हो गई है। करीब 100 क्विंटल धान की खरीदी हुई है। जिसमें पहली खरीदी के भाव 1370 से 1400 रुपए क्विंटल रहे हैं। दमोह मंडी में पारस राइस मिल, आज्ञा ट्रेडिग कंपनी, मनोज ट्रेडिंग कंपनी, जय श्रीविद्यासागर राइस मिल और किसान राइस मिल के व्यापारी धान खरीदी के लिए मौजूद रहे। इन सभी का कहना है कि वे धान खरीदी के लिए तत्पर हैं, साथ ही यह भी कहते है कि यहां-वहां व्यापारी धान खरीदी कर रहे हैं, वह बंद होना चाहिए और अपेक्षा व्यक्त की है, उनके विरुद्ध कार्रवाई प्रशासन द्वारा की जाए। इसके साथ जबेरा व तेंदूखेड़ा कृषि उपज मंडी में धान खरीदी की व्यवस्था है।
समिति प्रबंधक होंगे जिम्मेदार
कलेक्टर तरुण राठी ने धान खरीदी की समीक्षा करते हुए कहा कि गुणवत्तायुक्त धान की खरीदी जाए, किसी भी कीमत पर नॉन एफएक्यू धान की खरीदी न हो। उन्होंने ट्रेडिंग एफएक्यू कहा इस कार्य में लापरवाही बर्दास्त नहीं की जाएगी। यदि कहीं लापरवाही पाई जाएगी तो संबंधित अधिकारियों व कर्मचारियों को बख्शा नहीं जाएगा। कलेक्टर ग्राम पटेरिया खरीदी केंद्र में खरीदी गई, पूरी धान की जांच कराने के निर्देश दिए। तेंदूखेड़ा क्रमांक एक समिति को नोटिस जारी करने कहा है। यहां पर नॉन एफएक्यू धान खरीदी गई है।
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ई-कॉमर्स के क्या लाभ है?
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- भीड़रहित खरीददारी
ऑनलाइन शापिंग करते समय क्या सावधानियां बरतनी चाहिए?
- जब कभी आप ऑनलाइन शॉपिंग करो तो फाइन प्रिंट को सावधानी से पढ़ना चाहिए।.
- शिपिंग प्रभारों, ट्रेडिंग एफएक्यू डिलीवरी टाइम और रद्द करने और लौटाने संबंधी नीतियों ट्रेडिंग एफएक्यू और वारंटी संबंधी नियमों के बारे में जानकारी के संबंध में अपने को आश्वस्त करें।
- अपनी वित्तीय जानकारी ट्रेडिंग एफएक्यू और पासवर्ड को सुरक्षित रखें तथा भुगतान हमेशा यूआरएल के ‘https और ताला छवि’ जैसे सुरक्षित गेटवेज के माध्यम से करें।
- यदि आप वेबसाइट पर पहली बार शॉपिंग कर रहें है तो हमेशा कैश ऑन डिलीवरी भुगतान विकल्प का चयन करें।
- सदैव वेबसाईट के लैंडलाईन फोन और डाकपता की जांच करे।
BIS वेबसाइट के FAQ में हॉलमार्किंग के महत्वपूर्ण बिंदु गायब, GJC ने लिखा पीयूष गोयल को पत्र
उद्योग संगठन ने उपभोक्ता मामलों के मंत्री पीयूष गोयल को पत्र लिखकर कहा है कि ट्रेडिंग एफएक्यू बीआईएस ने अपनी वेबसाइट पर जो एफएक्यू जारी किया ट्रेडिंग एफएक्यू है उसमें काफी पेंच है और अस्पष्टता है. इससे सर्राफा कारोबारियों में असमंजस है.
बीआईएस की वेबसाइट पर जारी FAQ की अस्पष्टता को लेकर GJC ने पीयूष गोयल को पत्र लिखा है. (प्रतीकात्मक फोटो)
भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) की वेबसाइट के FAQ (बार-बार पूछे जाने वाले सवाल) से हॉलमार्किंग (hallmarking) के उन प्रमुख बिंदुओं के बारे में पता नहीं चलता है, जिनपर रत्न एवं आभूषण उद्योग तथा सरकार के बीच विचार-विमर्श हुआ है. ऑल इंडिया जेम एंड ज्वेलरी डोमेस्टिक काउंसिल (GJC) ने शनिवार को कहा कि इससे सर्राफा कारोबारियों में असमंजस की स्थिति है.
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वित्तीय वर्ष 18-19 परिणामों पर विचार-विमर्श करने हेतु दिनांक 29 मई 2019 को सायं 4.00 बजे मुंबई में वार्षिक निवेशक सम्मेल
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